आपने अपनी जिंदगी अभी तक कई सारे मंदिर देखे होगे। दुनिया में ऐसे भी कई सारे मंदिर है जहां दर्शन करने के लिए भक्त घंटों लाइन में खड़े रहते हैं। पर किसी ऐसे मंदिर के बारे में सुना है जहां दर्शन करने के लिए भक्तों को तरसना पड़े। ऐसा ही एक मंदिर सामने आया है जालौन में। जनपद जालौन में एक मन्दिर ऐसा भी हैं जहां पर भगवान के दर्शनों के लिये भक्त तरसते हैं। क्योंकि यहां कब पूजा हो जाती है और कब भगवान के दरवाजे बन्द हो जाते हैं यह किसी को पता ही नहीं चलता है।
मामला जालौन तहसील के ग्राम रिनियां का है, जहां पर ग्रामीणों ने बताया कि उनके यहां पर बने राधाकृष्ण जी के मन्दिर में उन्हें दर्शन ही नसीब नहीं होते हैं, और तो और इस मन्दिर पर अब इस गांव का कोटेदार अपनी राशन सामग्री रखकर यहीं से वितरण करने लगा है। ऐसा नहीं कि इस मन्दिर में महन्त न हों और ऐसा भी नहीं कि इस मन्दिर में पूजा आदि में आने वाले खर्च की व्यवस्था नहीं है। इस मन्दिर के नाम एक दो नहीं बल्कि चालीस बीघा जमीन भी है, लेकिन इस मन्दिर के महन्त इस ओर कोई ध्यान नहीं देते। मन्दिर की जमीन को जुताकर सारे पैसे पास में रखकर भगवान की सेवा खुशामद तक इस मन्दिर में नहीं हो पा रही हैं।
नवदुर्गा प्रारम्भ हुई और समाप्त भी हो गयी लेकिन श्रद्धालु अपने भगवान के दर्शन के लिये खूब तरसते रहे। साल में एक या दो बार ही मन्दिर खुलता है। मन्दिर के कमरों तक में अंधेरा छाया हुआ है और तो और मन्दिर परिसर के बाहर गन्दगी का साम्राज्य है। मन्दिर में भगवान के दर्शन न होने से फिलहाल ग्रामीणों में रोष है, और महिला श्रद्धालुओं में तो खासा असंतोष है और लोग यहां पर बाहर से ही भगवान के पैर छूकर चले जाते हैं। वहीं अपना राशन कोटा रखे हुये कोटेदार से जब मीडिया ने बात करनी चाही तो वह रफूचक्कर हो गया और काफी देर तक इन्तजार के बाद भी दिखाई नहीं दिया।